अब हम आपको बताएगे की मशरूम की खेती कैसे शुरू करनी है विश्व में हजारों वर्षों से ही मशरूम का उपयोग भोजन और औषधि के रूप में किया जा रहा है यह खाद्य पदार्थ पोषक तत्वों का भरपुर स्त्रोत है मशरूम में प्रोटीन और कार्बोहाइड्रेट की तुलना में वसा की मात्रा बहुत ही कम पाई जाती है इसके वसायुक्त भाग मैं लिनोलिक एएमएल जैसे अमल होते हैं जो हृदय संबद्ध प्रक्रियाओं के लिए बहुत ही आदर्श भोजन माना जाता है
मशरूम बहुत ही स्वादिष्ट होता है साथ ही मशरूम बाजार में काफी जादे दामो पर बिकता है मशरूम की खेती करना बहुत ही आसान है तथा बहुत ही कमदामो में आप मशरूम की खेती शुरू कर सकते हैं इसे आप सही तरीके से अपने घर पर भी उगा सकते हैं
भारत में मुख्य चार तरह की मशरूम की खेती की जाती है जैसे ढींगरी मशरूम बटन मशरूम वॉल मशरूम तथा दूधिया या मिल्की मशरूम आदि/बाजार में बटन मशरूम की मांग ज्यादा रही है जिस वजह से ज्यादा से ज्यादा बटन मशरूम की खेती की जाती है अगर आप भी मशरूम की खेती करना चाहते हैं तो हम आपको बेहतर से बेहतर तरीका बताइगे
यदि आप मशरूम की खेती करना चाहते हैं तो आपको अक्टूबर से मार्च कंपोस्टो महीने में मौसम की खेती कर सकते हैं, मशरूम खेती में जिस खाद का इस्तमाल किया जाता है उसमें चावल या चावल के भूसे के साथ केमिकल मिलाकर तैयार किया जाता है इसे बनाने में 1 माहीन का समय लगता है खाद तैयार करने के लिए 6 या 9 इंच मोटी खाद की परत को बिछाकर उसमें मशरूम को बीजों को बो दिया जाता है इसके बाद तैयार किए गए कंपोस्टो के ऊपर से ढक देते हैं इस तरह से आपका मशरूम 40 से 50 दिनों में तैयार हो जाएगा जिसे आप बाजार में ले जाकर आसान से बेच सकते हैं मशरूम की खेती खुले में नहीं करनी चाहिए छायादार जगह पर करनी चाहिए
- मशरूम के बीजों की खरीददारी के लिए कुछ स्थानों के नाम
मशरूम की अच्छी कीमत प्राप्त करने के लिए शुद्ध और उन्नत किस्मत के बीजो को हमेशा बोना चाहिए संस्था का नाम:
1 | क्रषी विभाग | मणिपुर |
2 | खुम्बू अनुसंधान निदेशालय | हिमांचल प्रदेश |
3 | विज्ञान समिति | उदयपुर(राजस्थान) |
4 | बागवानी निदेशवलय | कोहिमा |
5 | जबलपुर | जवाहर लाल नेहरू क्रषी विस्वविद्यालय |
- मशरूम की किस्म के प्रकार
विश्व में खाने योग तकरीबन 10000 मशरूम की प्रजाती पाई जाती है जिसमें से केवल 70% की खेती की योग मनी जाती है भारत में व्यवसाय बेवसाय के रूप से मुख्या चार से पांच तरह की मशरूम उगाई जाती है
- सुरक्षित बटन मशरूम
- ढींगरी मशरूम
- दूधिया मशरूम
- पेडेस्ट्रा मशरूम
- सफ़ेद बटन मशरूम:- भारत में सफ़ेद बटन मशरूम को आद्र वाले स्थान पर उगाया जाता है लेकिन वर्तमान समय में नई तकनीकों को अपनाकर अन्य स्थानों पर मशरूम की खेती करना और भी आसान हो गया है सरकार मशरूम की खेती के लिए भरपुर प्रोत्साहन तथा सहयोग दे रही है मशरूम के कवच जाल को फैलाव के लिए 22-26 डिग्री तापमान की अवश्यकता होती है इस टेपमैन पर कवच काफी तेजी से फेल है सेठ झोपड़ी या हददर कमरे में आसान से उगाया जा सकता है
- ढींगरी मशरूम:- दूधिया मशरूम ग्रिशमकालीन मशरूम के रूप में उगाई जाती है इसका आकार बहुत ही बड़ा होता है मशरूम के जैसे कटिबन्धी मशरूम है इसकी शुरुआत बंगाल मिशन 1976 में हुई अब केरल तमिलनाडु आंध्र प्रदेश कर्नाटक कुछ जैसे राज्यों में मशरूम की खेती काफी लोकप्रिय हो गई है सभी राज्यों में मार्च से अक्टूबर महीने की जलवायु मे मशरूम की खेती के लिए बहुत ज्यादा औसत होती है हालांकी कुछ क्षेत्रों की किसान दुधिया मशरूम की तुलना में ढींगरी मशरूम अतिअधिक महतवा देते हैं जिसके करण मशरूम का अभी तक व्यावसायीकरण नहीं हो पाया है बुरा में सीता के मौसम के जैसे दुनिया मशरूम भी बहुत ही जा रही है
- पेन डेस्ट्रो मशरूम:- इसे घर मशरूम के नाम से भी जाना जाता हैक्यूंकि यह उच्च टैप प्रति तिव्रता से वृद्धि करने वाला मशरूम हैअनुकुल परिस्थिती में तीन से चार सप्ताह में इसका फसल चक्र समाप्त हो जाता है परेशान मशरूम में सुगंध प्रोटीन खान झुकता और स्वाद जैसा अच्छे गन भी होते हैं किसी भी करण के वज़ह से याह मशरूम बहुत ही अधिक
लोकप्रिय है
शीटाके मशरूम:-यह मशरूम खादय पदार्थ के साथ-साथ एक औषधि वाला मशरूम भी है, हम घर पर ही आसान से उगाए जा सकते हैं, पूरे दुनिया में दूसरे नंबर पर पाया जाने वाला सबसे अधिक मशरूम है मशरूम बटन मशरूम के मुकाबले में अत्याधिक स्वादिष्ट होता हैसाथ ही बहुत ही स्वादिष्ट होता है इस मशरूम में उच्च विटामिन होता है और ये हृदय रोगी और मधु मुख्य रोगियों के लिए अत्याधिक उपयोगी होता है क्योंकि इसमें वसा और शार्का नहीं होती है इस मशरूम को व भुसी और सागवान साल पर आसान से उगा सकते हैं
मशरूम की खेती के लिए छप्पर को कैसे बनाएं
आप मशरूम की खेती करने के लिए आस्थाई और आस्थाईके दोनों प्रकार के छपरों का उपयोग कर सकते हैं, जिन किसानों के पास पैसों का अभाव है, वह बांसगांव धान के पुवाल से आस्थाई झोपड़ी सेट तैयार कर सकते हैं और उसमें हसन तैयार कर सकते हैं धान की पालनी बांस की पालनी बनाने के लिए 30 बूढ़े 22 * 12 करतब आकार वाले झोपड़ी को तैयार करने में तकरीबन 30000 खर्चा हो सकता है इस झोपड़ी में चार गुने 25 करतब आकार वाली 12 से 6 सेलेक्ट तैयार हो जाती है कम्पोस्ट बनाने का तरीका सुरक्षित बटन मशरूम की खेती करने के लिए कम्पोस्ट को दो प्रकार से तैयार कर सकते हैं, इन दोनों में ही आपको कम्पोस्ट को फ़र्श पर बेचना पड़ता है, इसमें एक लघु प्रक्रिया है जिसमें बड़े फॉर्मॉन का उपयोग किया जाता है, लघु विधि में कम्पोस्ट मिश्रन को तकरीबन 10 दिनों के लिए कमरे में भर देते हैं जिसमें सुरंग या निर्जीवीकरण चैंबर भी कहते हैं सुरंग के चैंबर की तरह ही मजबूत होती है और आला ब्लोअर द्वार हवा प्रवाह की जाती है यहां हवा खाद को पार करते हुए ऊपर की तरफ निकल जाती है इस तरह से लोहा 6 से 7 दिन तक लगतार हवा को घुमाते रहते हैं, इस खाद की उपज लंबी अवधि वाले बनाते हैं,लघु खाद की तुलना में दोगुणी होती है, अधिक किसान के पास चैंबर की सुविधा नहीं है, इस मशरूम की खेती को छोटे स्तर पर करते हैं। हैं
कम्पोस्ट खाद बनाने के लिए सामग्री
मशरूम की खेती में काम पोस्ट बनाने के लिए अच्छी गुणवत्ता वाले नली का उपयोग करते हैं, जिसे हमारा कम्पोस्ट खाद अधिक से अधिक उपजौ हो सके लेकिन भूसा भीगा हुआ नहीं होना चाहिए, आप कम्पोस्ट बनाने की विधि में गेहूं का भोंसा या धान का दांत के स्थान पर अगर आप सरसों के बोस का भी उपयोग कर सकते हैं तो आपको सरसों के फायदे के साथ मुर्गी के खाद की मात्रा भी बढ़ानी पड़ेगी। लेकिन कच्ची और ताजी खाद में नाइट्रोजन 1.6-1.8% अधिक होनी चाहिए 100 किलो वाली खाद खाद की बुवाई करने के लिए आपको 500 से 700 ग्राम बीज लेने की आवश्यकता होगी
मशरूम के बीजो की बुवाई
मशरूम का उत्पादन करने के लिए सेड़िया झोपड़ी में तयार स्लैब या बिस्तर पर बिछा कर रख देते हैं और उपयोग करते हैं प्रति 6 से 8 इंच मोटी खाद खाद बिछा देते हैं इसके खराब बिछाई गई खाद प्रति मशरूम के बीजोन को वह देते हैं 100 किलो खाद खाद प्रति बुवै के लिए मात्रा 5 से 700 ग्राम बीजोन की अवश्यकता होती है बीजू को वो देने के लिए पॉलिथीन का गलत इस्तेमाल करते हैं
मशरूम के बीजों को बोते समय, सावधानिय
मशरूम के बिजों को जीवित रखने के लिए कम से कम टैपमैन की अवश्यक्ता होती है क्योंकि 40 डिग्री से अधिक टैपमैन प्रति मशरूम का बिज 48 घंटों में ही खराब हो जाता है गर्मी के समय में विजय को रात में बोलना चाहिए अगर आप चाहते हैं बिजों को एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाने के लिए तो आपके वीडियो को लाइफ़फे या बोतल में भरकर थर्माकोल के बने डिब्रू में बर्फ के साथ ले जाना पड़ेगा इस प्रकार से आप विजय को अधिक तपमान से बचा सकते हैं
मशरूम के बीजो का भंडारन
मशरूम का ताजा बिज कंपोज खाद में जल्दी फेलता है जिसकी वजह से मशरूम जल्दी निकलना शुरू हो जाता है और मैं आपको विधि देखने को मिलता है रेफ्रिजरेटर में आप 15 से 20 दिनों के लिए मशरूम के बिजों को खराब होने से बचा सकते हैं मशरूम की फसल में हवा का प्रबंधन करने की प्रक्रिया खाद खाद में जहर जाल का फेला होने के समय यह क्या एक से अधिक बार हवा का संचलन करने की अवश्यकता होती है साथ ही में कार्बन डाइऑक्साइड से 2% देने की अवश्यकता होती है और इन हेड बनाने में मात्रा शून्य बिंदु शून्य आठ प्रतिशत कार्बन डाइऑक्साइड की अवश्यकता होती है मशरूम निकलते समय कार्बन डाइऑक्साइड की मात्रा से अधिक नहीं होना चाहिए इसका मतलब यह है कि पिन बनाने के दौरान यहां खराब हवा का संचालन अच्छी तरह से होना चाहिए अगर अपने सुरक्षित बटन मशरूम फसल को उगाने के लिए अच्छी खाद खाद का प्रबंध करते हैं अधिक उत्पादन के साथ अच्छी गुणवत्ता वाले मशरूम आपका प्राप्त कर सकते हैं
मशरूम मे लाग्ने वाले रोग था निवारण
मक्खियों से होने वाले रोग
एसिड मक्खियां और कुकुरमुक्ता है, जो वीजों की गंध से आकर्षित होती है और वीजों पर आक्रमण कर देती है और अंडे पर अंडे देती है और फसल को एकादम नष्ट कर देती है और फल के अंदर उसका फल का उपभोग कर लेती हैं जिसे फल खाने योग्य नहीं रह जाता है ईस पर नियंत्रण पाने केलिए फसल अवधि के समय पढ़ी मक्खियों को अंदर आने से रोकने के लिए खिड़कियाँ तथा अनुसन्धानों पर परदा लगाते हैं मशरूम घर में मक्खियों को भगाने के लिए दवाई का उपयोग करते हैं
कुटकी से होने वाले रोग
यह एक छोटा साकीड़ा होता ही जो आदिकतर मशरूम पर दिखाई देता है यह खासकर ज्यादा नुकसानदायक नहीं होते हैं लेकिन ये ज्यादा होने पर फसल के लिए नुकसानदायक होते हैं इन को रोकने के लिए पर्यावरण को साफ सुथरा रखना चाहिए
घेघा से होने वाले रोग
मशरूम का पूरा भाग खा जाते हैं जैसे मशरूम संक्रमित हो जाता है या बैक्टीरिया फसल की गुणवत्ता प्रति बहुत ही बुरा असर डालता है पर नियंत्रण पाने केलिए हमें क्यूब से हटकर मार देना चाहिए और साफ सुथरा माहौल बना रखना चाहिए
Nice post